यमुनोत्री में हेलीपैड पर सफल लैंडिंग ट्रायल, चारधाम यात्रा से पहले राहत की खबर..
उत्तराखंड: चारधाम यात्रा 30 अप्रैल से शुरू होने जा रही है और इसे लेकर सरकार व संबंधित जिला प्रशासन ने तैयारियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है। तीर्थयात्रियों की सुविधा और आपात स्थिति में त्वरित सहायता सुनिश्चित करने के उद्देश्य से यमुनोत्री हेलीपैड पर हेलीकॉप्टर की सफल लैंडिंग करवाई गई है। यह ट्रायल लैंडिंग प्रशासनिक तैयारियों की अहम कड़ी मानी जा रही है। हेलीकॉप्टर की यह लैंडिंग यह साबित करती है कि हेलीपैड पूरी तरह से कार्यशील और सुरक्षित है। इससे यात्रा के दौरान हेलिकॉप्टर सेवाएं सुचारु रूप से संचालित हो सकेंगी और किसी भी आपात स्थिति से निपटने में सुविधा होगी। प्रशासन का कहना है कि यात्रा मार्गों, ठहराव स्थलों, स्वास्थ्य सुविधाओं और संचार व्यवस्था को बेहतर बनाने की दिशा में कार्य किया जा रहा है, ताकि श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े।
चारधाम यात्रा से पहले यमुनोत्री धाम में तैयारियों को लेकर एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की गई है। उत्तराखंड नागरिक उड्डयन विकास प्राधिकरण (यूकाडा) की ओर से गरुड़गंगा के समीप निर्माणाधीन हेलीपैड पर हेलीकॉप्टर की सफल लैंडिंग करवाई गई। जानकारी के अनुसार यूकाडा का हेलीकॉप्टर पिछले दो दिनों से लैंडिंग का प्रयास कर रहा था, लेकिन मौसम और तकनीकी कारणों के चलते सफलता नहीं मिल पा रही थी। अंततः बुधवार को पहली सफल लैंडिंग करवाई गई, जो चारधाम यात्रा के लिहाज़ से बड़ी तैयारी मानी जा रही है। यमुनोत्री धाम में करीब 60 लाख रुपये की लागत से हेलीपैड का निर्माण कार्य ब्रिडकुल (BRIDCUL) द्वारा किया जा रहा है। यह हेलीपैड न केवल यात्रियों की सुविधा के लिए अहम साबित होगा, बल्कि आपात स्थिति में रेस्क्यू और मेडिकल सेवाओं के लिए भी मददगार होगा।
हेलीपैड का सरफेस कार्य पहले ही पूरा किया जा चुका था, जिसके बाद क्षेत्र की परिस्थितियों, मौसम और हवाओं की स्थिति को परखने के लिए यूकाडा ने हेलीकॉप्टर लैंडिंग का प्रयास किया। पहली कोशिश मंगलवार को की गई, लेकिन तकनीकी कारणों के चलते लैंडिंग संभव नहीं हो पाई। इसके बाद बुधवार दोपहर को हेलीकॉप्टर ने सफलतापूर्वक लैंडिंग की, कुछ समय रुकने के बाद वह लौट गया। बड़कोट थानाध्यक्ष दीपक कठैत ने इस सफल लैंडिंग ट्रायल की पुष्टि की है। वहीं यमुनोत्री मंदिर समिति के प्रवक्ता पुरुषोत्तम उनियाल ने कहा कि धाम में हेली सेवा शुरू होना चारधाम यात्रा और आपातकालीन स्थितियों के लिए वरदान साबित होगा। यह हेलीपैड करीब 60 लाख की लागत से ब्रिडकुल (BRIDCUL) द्वारा बनाया जा रहा है। यात्रा के दौरान यह सेवा बुजुर्ग और असहाय तीर्थयात्रियों के लिए विशेष सहायक सिद्ध होगी, वहीं आपातकालीन चिकित्सा, राहत और बचाव कार्यों के लिए भी अहम भूमिका निभाएगी।
इसके साथ ही यमुनोत्री धाम में सिंचाई विभाग की ओर से मजदूरों के माध्यम से मंदिर के समीप मलबे को हटाकर समतलीकरण का कार्य शुरू कर दिया गया है। जुलाई माह में यमुनोत्री धाम में यमुना नदी में आई आपदा के दौरान मंदिर गर्मकुंड और जानकीचट्टी तक नुकसान हुआ था। प्रशासन की ओर से कपाट बंद होने के बाद वहां पर सुरक्षात्मक कार्य में देरी की गई, तो वहीं अब चारधाम यात्रा शुरू होने से कुछ दिन पूर्व करीब 18 करोड़ की धनराशि स्वीकृत की। सिंचाई विभाग ने इसके बाद धाम में मजदूरों के माध्यम से समतलीकरण का कार्य शुरू कर दिया है, लेकिन इस पर तीर्थ पुरोहित नाराजगी व्यक्त कर रहे हैं। यमुनोत्री मंदिर समिति के प्रवक्ता पुरुषोत्तम उनियाल, मंदिर समिति के उपाध्यक्ष संजीव उनियाल, सहसचिव गौरव उनियाल,पंच पड़ा समिति के सचिव गिरीश उनियाल मनमोहन उनियाल, सुरेश उनियाल कुलदीप उनियाल आदि ने कहा यमुनोत्री धाम में लीपापोती बर्दाश्त नहीं की जाएगी। बिना मशीनों के वहां पर बाढ़ सुरक्षा कार्यों को नहीं होने दिया जाएगा।